अस्थाई कर्मियों की नियुक्ति में धांधली को लेकर बोर्ड मीटिंग का बायकट किया
दुर्गापुर नगर निगम की सात पंपिंग स्टेशनों में बीस लोगों को नियुक्त किया गया है, जिसे लेकर मंगलवार को दुर्गापुर नगर निगम के एमआईसी बोर्ड मिटिंग का बायकट 9 एमआईसी में से छह एमआईसी ने किया। एमआईसी माणि सोरेन ने बताया कि एमआईसी और वार्ड पार्षदों के साथ बिना कोई विचार विमर्श किए सात पंपिंग स्टेशनों में बीस लोगों को मेयर कैसे नियुक्ति कर दिये। जो लोग पहले से काम कर रहें थे, उन लोगों को क्यों हटाया गया।
नियमों के अनुसार एमआईसी बोर्ड में श्रमिकों की नियुक्ति के लिए आलोचना होना चाहिए था, उसके बाद नया नियुक्ति की प्रक्रिया होना चाहिए था। हम लोग इसका विरोध करते हुए एमआईसी की बोर्ड मिटिंग का बायकट किए। एमआईसी धमेंद्र यादव, राखी तिवारी, रूमा पाड़ियाल, निजाम हुसैन मंडल बैठक में शामिल नहीं हुए। वहीं अंकिता चौधरी अनुपस्थित रही। मेयर दिलीप अगस्ती ने बताया कि नियम के अनुसार 1/3 संख्या एमआईसी बोर्ड मिटिंग में होने से मिटिंग पूरा हो जाता है।
हम लोगों की मीटिंग हो गई। कौन आया न आया इससे कोई फर्क नहीं पड़ता है। उन्होंने बताया कि दुर्गापुर के पंपिंग स्टेशनों में आसनसोल-दुर्गापुर विकास प्राधिकरण (अड्डा) के लोग काम करते थे। लेकिन अड्डा ने इसकी जिम्मेवारी दुर्गापुर नगर निगम के हाथों में दे दी। अब नगर निगम किसको रखेगा, इसका अधिकार मेयर के पास में है। उन्होंने बताया कि इससे पूर्व के बोर्ड ने 33 लोगों को नियुक्ति की थी।
उनके आने के बाद ही 33 लोगों को काम से हटा दिया गया था। उन लोगों से कहा गया था कि अगर नगर निगम के पास नियुक्ति का प्रक्रिया आता है, तब उन लोगों को लिया जाएगा। लिस्ट के अनुसार ही लोगों की नियुक्ति दी गई है। नियम को मानते हुए ही कर्मियों को ली गई है, जो लोग आरोप लगा रहे है वो नहीं जानते हैं नियमों को, इसलिए इस तरह की बात कर रहे हैं। बैठक में एमआईसी प्रभात चटर्जी, पवित्रों चटर्जी, अमिताभ बनर्जी शामिल हुए।
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