होटल मैनेजर ने कहा उसे देह व्यापार का कारोबार करने की अनुमति है
कल्यानेश्वरी:मैथन डैम से लेकर कल्यानेश्वरी तक छोटे बड़े कई होटलों में इन दिनों देह व्यपार आम हो चुकी है।
पर्यटकों के नाम पर संचालित होने वाली यहाँ के कई नामचीन होटल आज बदनाम गली की कोठा बन चुकी है।
फलस्वरूप जहाँ कल्यानेश्वरी और मैथन का नाम लेने पर पहले धार्मिक सदविचार तथा पर्यटन केंद्र की अनुभूति होती थी, अब बदलकर देह व्यापार का स्मरण करवाती है।
पुलिसिया छूट और राजनितिक सरपरस्ती में फल-फूल रहा है देह-व्यापार का कारोबार
पुलिसिया छूट और राजनितिक सरपरस्ती के कारण तो कुछ होटल संचालक तानाशाह बन चुके है।
सरेआम अपने होटलों को असामाजिक तत्वों का अड्डा बना चुके है।
यौन कर्मी यहाँ भयमुक्त होकर देह व्यपार को बढ़ावा दे रही है।
यहाँ आपको प्रतिदिन दर्जनों प्रेमी जोड़ी समेत सेक्स वर्कर का ताँता देखने को मिल सकता है।
होटलों ने भी इस कार्य को सफलता पूर्वक अपना व्यवसाय बना लिया है।
होटल संचालक खुद को बेदाग बताते हुये दिखाते हैं सीसीटीवी कैमरा
होटल संचालकों से पूछने पर वे अपने होटल में सी सी टी भी कैमरा तथा युवक युवती के बालिग पहचान पत्र का हवाला देकर अपना पलड़ा झाड़ लेते है।
साथ ही प्रसासनिक अनुमति का हवाला देकर अपनी पहुच और पैरवी की झड़ी लगा देते है।
“क्षेत्र में है दर्जनों दलाल सक्रीय”
बताया जाता है कि पूर्व में यहाँ के कई होटल संचालक हावड़ा, 24 परगना, दुर्गापुर, आसनसोल, कोलकाता समेत अन्य जगहों से सेक्स वर्कर को लाकर रखते थे।
आसनसोल दुर्गापुर पुलिस कमिश्नरेट गठन के बाद हुयी थी ताबड़ – तोड़ कार्यवाही
आसनसोल दुर्गापुर पुलिस कॉमिस्नरेट गठन के बाद यहाँ के होटलों में ताबड़तोड़ छापेमारी हुई थी ।
सभी होटलो में सी सी टी भी कैमरा लगा दी गई थी
तत्कालीन ए डी सी पी वेस्ट सुब्रतो गांगुली के नेतृत्व में होटल संचालको को कई दिशा निर्देश दी गई थी।
किन्तु समय बीतने के बाद फिर से यहाँ देह व्यापार का नया तरीका जन्म ले चुकी है।
नयी तकनीक के साथ बंगाल , बिहार और झारखंड तक फैला है कारोबार
कुछ होटल संचालक के संपर्क में बंगाल, झारखण्ड, समेत बिहार के ग्राहक है।
जो यहाँ पहले से कमरा बुक कर लेते है।
फिर उन्हें दलाल के माध्यम से व्हाट्स अप पर सेक्स वर्कर की तस्वीर दिखाई जाती है।
मोबाइल पर ही सौदा तय होने के बाद ग्राहक स्वयं निजी वाहन से निर्दिष्ठ स्थान से सेक्स वर्कर को लेकर होटल पहुचते है।
फर्जी प्रमाणपत्र का लिया जाता है सहारा
बताते चलें कि पूरे प्रकरण में दलाल दोनों की मेल खाती हुई फर्जी प्रमाण पत्र भी उपलब्ध करवाते है।
जिस कार्य में होटल संचालक तथा दलाल मोटी रकम वसूलते है।
दिखावे के लिए है सीसीटीवी कैमरा
सूत्रों की माने तो वर्षो पूर्व इन होटलों में लगाई गई सी सी टी भी कैमरे आज निष्क्रिय हो चुकी है।
साथ ही अब इन कैमरों की जाँच तक नहीं की जाती है।
इन होटलों में कई आपराधिक गतिविधियों का खुलासा हो चुका है
बताते चले की यहाँ के कुछ होटलों में रेप,गैंग रेप, आत्महत्या, तथा सेक्स रैकेट का भंडाफोड़ कई बार हो चुकी है।
किन्तु हर बार होटल संचालक पर हुक्मरानों की मेहरबानी होने के कारण कार्यवाही से बचते रहे है।
जिससे दलाल तथा संचालक का मनोबल में वृद्धि होती रही है।
“स्थानीय महिलाओं को होना पड़ता है शर्मसार”
मनबढ़ु युवक यहाँ के स्थानीय पारिवारिक महिलाओं को भी सेक्स वर्कर समझ उनसे बदसुलूकी करते है।
उनसे रेट समेत होटल चलने को आग्रह करते है।
महिलाएं यहाँ अपने साथ हुई ऐसे घटना की खुल कर विरोध भी नहीं कर पाती है।
देह व्यापार के खिलाफ कई आंदोलन भी हुये हैं
क्षेत्र में बढ़ते देह व्यवसाय के खिलाफ वर्ष 2015 में क्षेत्र के सैकड़ों महिलाओ व् बच्चो ने एकजुटता दिखाते हुए होटल संचालको के विरुद्ध मोर्चा खोल दिया था।
सभी प्रशासनिक अधिकारियों से की गयी थी शिकायत ।
किन्तु आन्दोलन की आग को पहुँच की पानी से बुझा दी गई।
फलस्वरूप वक्त के साथ क्षेत्र में देह-व्यापार आज परवान पर है|
हाल ही फिर हुई थी तोड़-फोड़
हाल ही में रविवार(27 अगस्त) को भी क्षेत्र के दर्जनों युवको ने होटल मैथन पर देह व्यवसाय का आरोप लगाते हुए होटल में जमकर तोड़ फोड़ किया था|
जिसके बाद से यहाँ के होटल संचालकों में हडकंप मचा हुआ है|
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होटल मैनेजर ने ने कहा उसे देह-व्यापार का कारोबार करने कि अनुमति है
घटना के दौरान होटल मेनेजर ने खुद स्वीकार किया है की उनके यहाँ 12 साल से देह व्यवसाय संचालित हो रही है| जिसका बाकायदा उनके पास अनुमति है|
अब ये अनुमति उसे किसने दिया यह एक गहण जांच का विषय है।
फोटो:-कौशिक मुखर्जी
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