सेफ्टी और सुरक्षा को ताख पर रख मैथन डैम में काम कर रही है गाज़ा कंपनी
@पिछली गलतियों से सबक नहीं लिया पीएचई विभाग ने, गाज़ा कंपनी की मनमानी के कारण कभी भी घट सकती है यहाँ बड़ी दुर्घटना
@मैथन डैम में निर्माणाधीन इंटेक जेटी कार्य में सेफ्टी नदारद, बिना सुरक्षा उपकरण के कार्य कर रहें हैं सैकड़ों मजदूर
@ 21 जनवरी को सालानपुर ब्लॉक डालमिया न्यू रेलवे साइडिंग के पास पाईप लाईन बिछाने के दौरान दबने से हो चुकी है तीन मजदूरों की मौत
कल्याणेश्वरी| हर घर जल, जल जीवन मिशन के तहत मैथन डैम के थर्ड डाइक पिकनिक स्पॉट के निकट जलाशय में पेयजलापूर्ति (इंटेक जेटी) के लिए पीएचई विभाग के अधीन कार्य कर रही गाजा इंजिनियरिंग कंपनी की मनमानी चरम पर है, कंपनी को ना ही सुरक्षा की परवाह है और ना ही यहाँ कार्यरत सैकड़ो मजदूरों की सेफ्टी की| मैथन डैम के तटवर्ती किनारें से लेकर गहरी जलाशय तक पाईपलाईन बिछाने के लिए आरसीसी पिलर का निर्माण किया जा रहा है, जिसके लिए सिविल लेबर हेलमेट, सेफ्टी बेल्ट,सेफ्टी शू समेत अन्य सुरक्षा उपकरण के बिना ही कार्य करने को विवश है| मजदूरों को कई फीट ऊपर बिना सुरक्षा उपकरण के ही चढ़ाया जा रहा है, वही पानी के बीचोबीच कार्य कर रहे मजदूरों के पास भी कोई सेफ्टी उपकरण नहीं है| वही दूसरी और कंम्पनी के साईट ऑफिस के निकट भारी भरकम इस्पात का कार्य भी वेल्डिंग, कटिंग,अनलोडिंग समेत अन्य कार्यों में भी सुरक्षा का एक तिनका तक नहीं है| विडंबना यह है की कंपनी के सुपरवाइजर से लेकर साईड इंचार्ज तक बिना हेलमेट के ही कार्य कर रहें है| किन्तु कोई सुध लेने वाला नहीं है|
दूसरी और मैथन डैम पिकनिक स्पॉट पर प्रतिदिन सैकड़ों सैलानी पिकनिक मानाने पहुँचते है, ऐसे में कंपनी की भारी मालवाहक ट्रक, हईवा,ट्रेलर को भी दिन में ही यहाँ प्रवेश कराया जा रहा है, जिससें आए दिन यहाँ दुर्घटना की संभावना बनी रहती है| स्थानीय लोगों का कहना है की स्थानीय पुलिस द्वारा पिकनिक के समय दिन में यहाँ भारी वाहनों का प्रवेश वर्जित किया गया था, इसके बावजूद भी कंपनी मनमानी कर रही है|
बतातें चले की बीते 21 जनवरी को ही सुरक्षा को ताख पर रखने के कारण पीएचइ विभाग की गच्चा लग चूका है, हलाकि इस अनदेखी और लापरवाही के कारण तीन मजदूरों को जान से हाथ धोना पहा था, घटना सालानपुर ब्लॉक के डालमिया न्यू रेलवे साइडिंग के पास घटित हुई थी| जहाँ पाईप लाईन बिछा रहे चार मजदूर के ऊपर भू-धसान हो गई थी, मिट्टी से दबने के कारण पाकुड़ के रज्जाक सेख(22) रोहित उद्दीन सेख(18) एवं चिनाकुड़ी के नितेश पासवान मौत हो गई थी, जबकि शमशुल सेख(20) की हालत गंभीर हो गई थी, बताया जाता है की घटना के बाद मृतक के आश्रितों को पीएचइ द्वारा दो एवं ठेकेदार द्वारा दो लाख का मुवाबजा प्रति मृतक दिया गया था| हालाँकि घटना के बाद मुवाब्जा देना अब एक रित बन चुकी है, किन्तु जीवन आपके लिए कीमती हो सकती है, किन्तु ठेकेदारी और कंपनी प्रथा में इसकी कीमत अब भी एक दो लाख ही है| अलबत्ता पीएचइ विभाग भी पुरे प्रकरण में अब भी मूकदर्शक की भूमिका निभा रही है| चुकी एक जगह घटना घट चुकी है, और दूसरी जगह लापरवाही चरम पर है|

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