चेन्नई में फंसी 36 महिला प्रवासियों की हुई धनबाद वापसी
धनबाद । झारखण्ड के मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन की पहल से चेन्नई में फंसी 36 प्रवासी महिला कामगारों को ऐलेप्पी एक्सप्रेस से सुरक्षित धनबाद लाया गया। सभी महिलायेंं झारखंड के दुमका जिले की रहनेवाली है। रोजगार के लिए सभी तमिलनाडु गई थी। सभी सिलाई का काम करती थी। लॉकडाउन में रोजगार बंद होने से सभी के समक्ष भूखमरी की स्थिति उत्पन्न हो गई।
रोजगार खत्म हो जाने से सभी अपने परदेश लौटने का मन बना लिया परन्तु चेन्नई से झारखंड आने में हो रही परेशानी के कारण महीनों से वहाँ फंसी थी। सामाजिक संस्था शुभ संदेश फाउंडेशन को जैसे ही महिला कामगारों के चेन्नई में फंसे होने की जानकारी मिली फाउंडेशन की टीम इन्हें सकुशल उनके घर पहुँचाने की कवायद में जुट गई। स्थानीय विधायक मथुरा प्रसाद महतो एवं अन्य जनप्रतिनिधियों ने मुख्यमंत्री से सम्पर्क साधा। मुख्यमंत्री ने इस मामले में त्वरित कदम उठाते हुए रेलवे से वार्ता कर इस दिशा में सार्थक पहल की।
ऐलेप्पी में एक्स्ट्रा कोच जोड़कर सभी 36 महिला कामगारों को धनबाद लाया गया जहाँ से सभी को बसों से दुमका रवाना कर दिया गया। फाउंडेशन के सदस्य ने बताया अबतक 14 सौ प्रवासी मजदूरों देश के विभिन्न राज्यो से रेस्क्यू कर के सकुशल उन्हें उनके घर पहुँचाया है। मथुरा प्रसाद महतो ने कहा सूबे के मुख्यमंत्री प्रवासी मजदूरों को लेकर गम्भीर है।
जहाँ कही भी प्रकासी मजदूर फंसे है उन्हें उनके परदेश लाने का कार्य हेमंत सोरेन संजीदगी से करते आ रहे है। वर्तमान सरकार पलायन रोकने की दिशा में भी गंभीर कदम उठा रही है। राज्य के अंदर ही रोजगार सृजन के उपाय किये जा रहे है ताकि झारखण्ड की जनता को रोजगार के लिए दूसरे प्रदेशों की ओर पलायन न करना पड़े।

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