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दूसरों के घरों में खाना बनाने वाली विधवा माता ने अपने बेटे को चार्टर्ड अकाउंटेंट बनाया

रानीगंज । रानीगंज कोयला नगरी के एक ब्राह्मण परिवार की महिला कविता जोशी दूसरे के घरों में खाना बनाकर अपने बेटों को चार्टर्ड अकाउंटेंट बनाई । आज उस महिला का चर्चा पूरे नगर में है क्योंकि जब उनका बेटा बलराम 7 बरस का मासूम था उस समय उसके पिता का देहांत हो गया था। लेकिन एक कहावत है हौसला बुलंद हो तो सफलता अवश्य मिलती है बेटे ने चार्टर्ड अकाउंटेंट की परीक्षा पास की ओर पूरा समय अपने माँ को दे रहे हैं बलराम, चार्टर्ड अकाउंटेंट की परीक्षा पास कर ली है लेकिन अनेकों चार्टर्ड अकाउंटेंट के परीक्षा देने की तैयारी में है उन्हें भी प्रेरणा देते रहे हैं अपने छोटे भाई का भी भरण पोषण के साथ-साथ चार्टर्ड अकाउंटेंट की पढ़ाई में उसका ध्यान आकर्षित कर रखा है।

माँ कविता जोशी कहती है कि मुझे भरोसा था कि मेरा लड़का चार्टर्ड अकाउंटेंट की परीक्षा में अवश्य पास होगा । रानीगंज यह ऐसाशहर है यहाँ अब तक सैकड़ों के करीब छात्र चार्टर्ड अकाउंटेंट की परीक्षा में सफलता हासिल की है । बलराम आए दिन अखबारों में विशेषकर चार्टर्ड अकाउंटेंट की परीक्षा में पास करने वाले को देखते थे तो उनके भी मन में यह प्रेरणा जग्गताथा कि मुझे भी चार्टर्ड अकाउंटेंट की पढ़ाई कंप्लीट करनी है। ईश्वर ने मुझे सफलता दी बलराम के गुरु सीए अजय बघेरिया ने कहा कि इस बच्चे क अंदर मैंने देखा एक जज्बाा है और साथ ही साथ संकल्प भी पिछले 12 महीने से मोबाइल फोन से अपनी दूरीी बना रखा है । जो आज के युग में संभव नहीं, आज बलराम को पहचान मिलीी है।

Last updated: फ़रवरी 6th, 2021 by Raniganj correspondent