कोरोना से पहले कालाबाज़ारी ने महज एक दिन की जनता कर्फ्यू और दो दिन की लॉकडाउन में ही अपना असर दिखाना आरम्भ कर दिया है । उस पर प्रधानमंत्री ने 14 अप्रैल तक के लिए पूरे 21 दिन का लॉक डाउन की घोषणा कर दी है ।
सेनिटाइजर से लेकर फेस मास्क बाजार में सोने की भाव बिकने के बाद अब आलू अचानक 16 रुपये से 30 हो चुकी है। रविवार को पश्चिम बर्धमान जिले के बराकर आलू मंडी में 720 रुपये प्रति 50 किलो मिलने वाली आलू अब 1000 रुपये पार कर चुकी है।
कल्याणेश्वरी, देंदुआ, एवं लेफ्ट बैंक इलाके में संचालित कुछ दुकानदारों ने बताया कि रविवार को बराकर आलू गोदाम में आये तीन ट्रक हाथों हाथ बिक गई।
लोग डर के कारण 50 किलोग्राम को बैग ही घर पर स्टॉक कर रहे है। यह हाल सिर्फ आलू का नहीं , प्याज और अन्य वस्तुओं की कीमत भी बीते दो दिनों में डबल हो चुकी है।
दूध की 500 एमएल पैकेट पर भी कुछ दुकानदार 2 से 4 रुपए अधिक वसूल रहे है। ऐसे में राज्य सरकार की चेतावनी और निर्देश भी कालाबाज़ारी करने वालों पर कोई असर नहीं कर रही है।
कल्याणेश्वरी बाजार से राशन खरीदने पहुँचे एक सज्जन ने बताया कि आटा और चावल के दामों में भी वृद्धि हुई है।
यही हाल जिले के लगभग सभी बाज़ारों का रहा । राशन खरीदने के लिए लोग घंटों दुकानों में लाइन में लगे रहे । जनता कोरोना से पहले भूखमरी और कालाबाज़ारी का भेंट चढ़ जाएगी।
इधर क्षेत्र में सक्रिय पुलिस और जनप्रतिनिधि भी जनता से अपील कर रहे है कि कालाबाज़ारी हो तो पुलिस को सूचित करें, ऐसे व्यक्तियों पर कानूनी कार्यवाही की जायेगी अलबत्ता पुलिस की दबिश से पहले ही क्षेत्र के दुकानदार मंडी में मंहगाई होने की राग अलाप रहे है।
मामले को लेकर स्थानीय लोगों ने बताया कि कोरोना के कारण सभी का आमदनी बंद हो चुकी है, ऊपर से जरूरी वस्तुओं की कीमत में बेहिसाब इजाफा होने लगा है। ऐसे में प्रशासन जल्द ही कोई ठोस कदम नहीं उठाती है तो जल्द ही लोगों में भुखमरी की नौबत आ जाएगी , खासकर ग्रामीण इलाकों में एवं कम आय वाले परिवारों पर इसका गहरा असर होगा ।