चौपारण प्रखंड के सिंघरावां पंचायत के ग्राम हजारीधमना में मनरेगा योजना धरातल पर कम और कागजो पर अधिक कार्य किया गया है। उक्त बातें सामाजिक कार्यकर्ता ध्रुपनारायण सिंह ने बताया। उन्होंने प्रखंड एवं जिला प्रशासन से मांग किया है कि हजारीधमना में मनरेगा योजना से किये गए कार्यों का जमीनी स्तर से जाँच किया जाय। उन्होंने यह भी कहा कि कई ऐसे भी रैयत है। जिन्हें जानकारी भी नहीं है और उनके नाम से मनरेगा योजना का कार्य कागजो पर कर सरकारी राशि का बंदरबाँट किया गया है।
ग्रामीणों ने कहा कि हजारीधमना से हजारी होते हुए पुरहरा सिमाना तक मिट्टी मोरम का काम किया गया है। जिसमें सिर्फ थूक पॉलिस कर राशि निकाल लिया गया है। जिसके कारण बरसात भर लोगों का उक्त सड़क से चलना मुश्किल हो गया था। इस संबंध में रोजगार सेवक रामचंद्र दांगी से पूछने पर कहता है कि पूरे चौपारण में इसी तरह से कार्य किया जाता है। बीपीओ गोपाल प्रसाद से पूछने पर कहा कि 5 लाख की मिट्टी-मोरम सड़क में 3 लाख 78 हजार की निकासी हुई है।
Last updated: अक्टूबर 25th, 2021 by