आधार (वित्तीय और अन्य सब्सिडी, लाभ और सेवाओं का लक्षित वितरण) अधिनियम, 2016 की धारा 7 के अनुसार कोई भी व्यक्ति जो किसी भी सब्सिडी, लाभ या सेवा का इच्छुक हो और जिसके लिए भारत के समेकित निधि से व्यय किया जाता है, को आधार संख्या दिखाना या आधार आधारित प्रमाणीकरण से गुजरना होगा। यदि किसी व्यक्ति के पास आधार नहीं है, तो वह आधार के लिए आवेदन करेगा और उसे सब्सिडी, लाभ या सेवा के लिए वैकल्पिक पहचान दिया जाएगा।
मंत्रालय द्वारा आधार अधिनियम, 2016 की धारा 7 के तहत जारी अधिसूचना में ऐसी व्यवस्था की गई है कि किसी व्यक्ति के पास आधार संख्या नहीं होने की स्थिति में उसे वैकल्पिक पहचान दस्तावेजों के आधार पर लाभ प्रदान किया जाएं। यह जानकारी आज राज्यसभा में एक प्रश्न के लिखित उत्तर में सामाजिक न्याय और अधिकारिता राज्यमंत्री श्री विजय सांपला ने दी।
Last updated: अगस्त 2nd, 2018 by