वर्तमान समय में भारत में फैल रहे हिंदुवादी उन्माद पर करारा चोट करते हुये नाथ संप्रदाय के प्रमुख नरहरि नाथ जी महाराज ने कहा कि आज युवा वर्गों में धर्म के प्रति जो आकर्षण दिखाई दे रहा है वह वास्तविक नहीं है। वह भी भ्रमित है। धर्म के नाम पर मात्र अपने को प्रदर्शित न करके वर्तमान में जो कुछ हो रहा है इससे सावधान रहने की जरूरत है। अमृत आश्रम में आयोजित धर्म सभा को संबोधित करते हुए नाथ संप्रदाय के प्रमुख नरहरि नाथ जी महाराज ने कहा कि गुरु परंपरा की जरूरत है । राजनीति के क्षेत्र में पहले भी गुरुजन थे। जब से गुरुओं का राजनीति से दूरी बनी, राजनीति में गंदगी प्रवेश कर गई । उन्होंने कहा कि आदित्यनाथ योगी जी मुख्यमंत्री उत्तर प्रदेश के हैं। वैसे भी उनके ऐतिहासिक परिप्रेक्ष्य को देखा जाए तो उनके परिवार से लोग राजनीति में आते रहे हैं । वह देश हित में अपना सब कुछ न्योछावर कर काम कर रहे हैं ।
त्याग, बलिदान, भक्ति का मार्ग होता है सन्यासी का
वर्तमान में जो गुरुओं का जो स्वरूप देखने को मिल रहा है। उसके लिए हम सब दोषी जरुर हैं . गुरु बनाने से पहले अवश्य उन्हें परख ले । हिंदू धर्म को कलंकित करने के लिए ऐसे कुछ स्वार्थी लोग है जो गेरुआ वस्त्र पहनकर चंद समय के लिए आते हैं और चंद समय में ही चले भी जाते हैं । सन्यासी का मात्र कपड़े पहन लेने से सन्यासी नहीं हो सकते . त्याग, बलिदान, भक्ति का मार्ग होता है सन्यासी का। आज दुनिया भर में भारतीय सभ्यता , संस्कृति का अपनाया जा रहा है। आज अपने ही देश में लोग अपने धर्म से भ्रमित होते हैं ।