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हिंसा पीड़ितों से मिलने मानवाधिकार  आयोग पहुँची रानीगंज

निरिक्षण करती आयोग की टीम

मानवाधिकार  आयोग पहुँची रानीगंज

रानीगंज -रामनवमी को लेकर बीते 26 मार्च को विश्व हिन्दू परिषद् द्वारा निकाले गए जुलूस में भड़काऊ गाने को लेकर उपजे विवाद ने सांप्रदायिक हिंसा का रूप ले लिया था. इस दौरान रानीगंज के सैंकड़ों घरों में आगजनी-लूटपाट हत्या कि घटना को उपद्रवियों ने अंजाम दिया था. इस हिंसा की वजह जानने एवं प्रभावित लोगों की जाँच पड़ताल करने मानवाधिकार आयोग आयोग की एक टीम आज रानीगंज के हिंसा प्रभावित क्षेत्र पहुँची. टीम ने शहर के बरदही, विकास नगर, राजा बांध, डोम पाड़ा, हिलबस्ती, शिव मंदिर रोड, रानीगंज का हटिया, सब्जी मंडी आदि का निरीक्षण किया। टीम का नेतृत्व आईपीएस सुमेधा द्विवेदी कर रही थी.

मरघट सा होता है प्रतीत

रानीगंज के सब्जी मंडी हटिया में भले ही शासन-प्रशासन की ओर से जान डालने का प्रयास पिछले दो सप्ताह से की जा रही हो, लेकिन वस्तु स्थिति यह है कि आज भी हटिया मरघट सा प्रतीत होता है. लोग अपने क्षतिग्रस्त आशियानों को सजा रहे थे जिस वक्त मानवाधिकार आयोग की यह टीम हटिया में प्रवेश की. हटिया के अंदर बाहर के लोगों से मिले और इसके पश्चात राजा बांध के बैजनाथ सिंह एवं नजरुल व मुस्ताक से भी मुलाकात की. जिनके घरों में लूटपाट के साथ आगजनी की गई थी.

बेटी की शादी के लिए सजाया था घर, जो तोड़ दिया गया

यासमीन खातून ने अपनी बेटी की विवाह पर घर में पूरी साज सज्जा को टूट-फूट की अवस्था में दिखा रही थी. बेहाल यासमीन खातून अब इस इलाके में रहने पर भी भयभीत है. कल्याणी बाद्याकर एवं लुगाई मांझी जैसे मेहनत मजदूरी करने वाले लोग यह कहते भी नहीं थक रहे थे कि बाबू एक सप्ताह से खाना नहीं खाया है. मोहन और सुमित्रा मंडल कहती है कि हम लोग पहली बार ऐसी घटना के शिकार नहीं हुए हैं, जब कभी भी दो समुदाय में तनाव होती है हम लोग पहला शिकार होते हैं. आज मेरे घर को किस प्रकार से क्षति पहुँचाई गई लूटपाट की गई इसका मंजर दिखाने जबरन कमीशन के अधिकारियों को अपने घर ले गई. एक 80 वर्षीय बूढ़ी मां रो-रो कर अपनी आप बीती सुना रही थी. रागी हुसैन का घर में लूटपाट, अरविंद बर्मन के दुकान-घर में लूटपाट, हिल बस्ती के फुटकर व्यवसाय शकील अहमद और आजाद के वाहन में आग लगाने व घरों में लूटपाट की जाने की भी घटना का सर्वेक्षण हुआ. इस सर्वेक्षण में मुख्य रूप से स्थानीय पार्षद आरेस जलेस उपस्थित रहे. पार्षद मोइन खान भी थे. इसके उपरांत रानीगंज शहर में कई बड़े प्रतिष्ठान ताज शू एवं रौनक नईम व हक स्टोर का भी जायजा लिया.

आज भी लोगों को है पुलिस पर गुस्सा

टीम के साथ उपस्थित पार्षद मोo जलेस ने कहा कि यह सर्वेक्षण टीम आई हैं, हम लोगों ने प्रयास किया है पूरे घटना की जानकारी देने की. पूर्व चेयरमैन संगीता शारदा एवं एमआईसी देब्येंदु भगत ने बताया कि हम लोग भरपूर प्रयास करेंगे कि जिनका भी क्षति हुआ है उन्हें मुआवजा मिले. लेकिन रानीगंज में हुए दंगा फसाद को लेकर आज भी यहाँ के लोगों का पुलिस-प्रशासन पर आक्रोश दिखा।

Last updated: अप्रैल 11th, 2018 by Raniganj correspondent